से लॉकडाउन बांदा। लाकडाउन के दौरान लोगों को कोरोना महामारी से बचाने के लिसे सोशल डिस्टेसिंग का पालन करते हुये किराना की दुकानों से सामान लेने की प्रशासन द्वारा कछ छूट दी गई थी। लेकिन लोगों द्वार सोशल डिस्टेसिंग का पालन न करने पर प्रशासन द्वारा बहुत सारी किराना दुकानों को भी बंद कर दिया गया। जिससे लोगों को राशन सामाग्री आदि लेने में परेशानी का सामना करना पड़ रहा है। वहीं घर घर जरूरी सामान पहुंचाने का प्रशासनिक दावा फेल होता नजर आ रहा है। मालूम हो कि बीते 25 मार्च से केन्द्र सरकार द्वारा कोरोना वायरस के मद्देनजर पूरे देश में 14 दिन का लाकडाउन घोषित किया गया था। जिसमें जरूरी सामान व फ्ल सब्जी आदि की दुकानों को खोलने की योजना बनाई गई थी। लेकिन दो-चार दिन बार प्रशासन द्वारा जांच में पाया गया कि लोगों द्वारा सोशल डिस्टेसिंग का पालन नहीं किया जा रहा है। जिससे प्रशासन से काफी संख्या में किराना की दुकानों को बंद करा दिया। जिससे लोगों को दाल, आटा, चावल सहित अन्य जरूरी सामाग्री खरीदने में दिक्कत का सामना करना पड़ रहा है। वहीं प्रशासन द्वारा निर्धारित दरों परेशानी पर लोगों के घर घर जरूरी सामाग्री पहुंचाने की बात कही गई। लेकिन लाकडाउन के 12 दिन गुजर जाने के बाद भी अभी भी बहुत से ऐसे मोहल्ले है जहां पर किराना सामाग्री नही पहुंचाई गई है। जिससे लोगों को परेशानियों का सामना करना पड़ रहा । वहीं कुछ किराना दुकानदार भी मौके का फयदा उठाते हुये जरूरी सामाग्री को अधिक दरों में बेंचा जा रहा है। मोहल्ले में वर्तमान में सब्जी व फ्ल की ठेलिया वाले ही पहुंच रहे है। लेकिन सब्जी व फ्ल से अधिक जरूरी लोगों के लिये आटा, चावल व दाल बनी हुई है। स्थानीय लोगों ने प्रशासन से मांग की है कि प्रशासन को चाहिये कि लोगों को किराना सामाग्री उपलब्ध कराने के लिये उचित प्रबंध किए जाएं। लाकडाउन के दौरान घर में रह रहे लोगों को दिक्क्त का सामना नही करना पड़े।
किराना दुकानें बंद होने से लॉकडाउन में परेशानी